Show me an example

Monday, October 13, 2008

पूरा देश ही कोशिश में लिप्त है.....


@mishrashiv I'm reading: पूरा देश ही कोशिश में लिप्त है.....Tweet this (ट्वीट करें)!

अमिताभ बच्चन जी की तबियत ख़राब है. उमर हो गई है, ऐसे में तबियत की खराबी हो ही जायेगी. इतना काम करते हैं. इस उमर में इतना काम करना कभी-कभी तबियत ख़राब होने का कारण बन ही जाता है. मैंने सुना है वे केवल काम करते हैं. कभी इच्छा हुई तो सो भी लेते हैं. काम करने से बोर नहीं होते. हाँ सोने से बोर ज़रूर हो जाते होंगे. तबियत की खराबी किसी टेंशन की वजह से नहीं है, इस बात की गारंटी है.

वैसे भी अब टेंशन का कोई कारण भी नहीं है. पहले थोड़ा-बहुत टेंशन होती होगी. आख़िर इनकम टैक्स का नोटिस आता रहता था. साथ में कोर्ट का नोटिस.

अब नोटिस है तो सवाल हैं, सवाल हैं तो जवाब हैं, जवाब हैं तो कयास है. मतलब ये की टेंशन है. लेकिन नोटिस वगैरह आने पर भी उन्हें हुआ टेंशन जल्दी ही दूर हो जाता था. अमर सिंह जी टीवी के कैमरे के सामने अपना कर्तव्य निभाते थे. चिल्लाते थे. सरकार के लोगों को और कांग्रेस वालों के ऊपर खफा हो लेते थे.

लेकिन उनदिनों भी ये सब करने की ज़रूरत क्या थी? अमित जी के पास टेंशन दूर करने वाला तेल रहता ही था. ठंडा-ठंडा कूल-कूल.

वैसे भी, अब तो नोटिस आना भी बंद हो गया है. न्यूक्लीयर डील भी पास हो गई है. लेकिन न्यूक्लीयर ताकत से लबरेज देश में तबियत की खराबी का कारण?

कारण कुछ भी हो सकता है. थकान हो सकती है. या फिर ये भी हो सकता है कि बहुत दिनों तक लगातार काम करके बोर हो गए हैं, ऐसे में थोड़ी तबियत ही ख़राब कर ली जाय.

सब चिंतित हैं. फैन चिंतित हैं. शुभचिंतक चिंतित हैं. नेता चिंतित हैं. अभिनेता चिंतित हैं. पब्लिक चिंतित है. और तो और प्रधानमंत्री तक चिंतित हैं. सुना कि कल उन्होंने जया बच्चन जी को फ़ोन कर के अमिताभ जी के स्वस्थ होने की कामना की.

टीवी न्यूज़ चैनल वालों को लगा कि केवल डॉक्टरों के इलाज से काम नहीं चलने वाला. लिहाजा उन्होंने भी अपनी तरफ़ से कोशिश शुरू कर दी है. जनता से एस एम एस मंगाना शुरू कर दिया है. आज सुबह ही एक न्यूज़ चैनल पर चलते हुए संदेशों को पढ़ रहा था. देश के लिए कुछ करने का मौका जनता को तभी मिलता है जब ऐसे संदेश भेजने का मौसम आता है.

संदेश भी ऐसे-ऐसे कि अमिताभ जी पढ़ लें तो दो दिन में ठीक होने वाली बीमारी को ठीक होने में चार दिन लगें. एक प्रशंसक तो अपने पूरे परिवार की उम्र अमिताभ जी के उम्र के साथ स्वैप करने के लिए राजी था. एक ने लिखा था कि आप जल्दी स्वस्थ होकर फिर से सुपर स्टार बन जाइये.

डॉक्टर कोशिश कर रहे हैं. सरकार कोशिश कर रही है. टीवी चैनल वाले कोशिश कर रहे हैं. जनता कोशिश कर रही है. हॉस्पिटल को लोगों ने घेर लिया है. मेडिकल बुलेटिन प्रसारित हो रहे हैं. दावे किए जा रहे हैं. दावों का खंडन किया जा रहा है. कयास लगाए जा रहे हैं. कयासों को काटने का काम किया जा रहा है.

टीवी कैमरा और माईक्रोफ़ोन थामे लोग, टीवी के स्क्रीन पर आँख लगाए पूरा देश, हर आने-जाने वालों से सवाल करते संवाददाता, हर दो घंटे पर सवालों के जवाब देते डॉक्टर...... कुल मिलाकर पूरा देश ही कोशिश में लिप्त है.

लेकिन इतनी किचाहिन अमिताभ बच्चन जी के हेल्थ के लिए कितनी मददगार है?

19 comments:

  1. लेकिन इतनी किचाहिन अमिताभ बच्चन जी के हेल्थ के लिए कितनी मददगार है?
    'hmm baat to sochne walee hai, ye artical pdh kr hum bhee soch mey pdh gyen hain...?????"

    Regards

    ReplyDelete
  2. मीडि‍या को लोकप्रि‍यता भुनाने से मतलब है, बस।

    ReplyDelete
  3. एक हम हैं एतना दिन से बीमार है कोई कुछ सुधे नहीं ले रहा है.
    ब्लागिंग बंद, टिप्पणी बंद सबे बंद है.
    भइया सब बखत-बखत का बात है.

    ReplyDelete
  4. जब बच्चन जी को अस्पताल ले जाया जा रहा था.. तो एक चैनल पर पुछा जा रहा था.. जया बच्चन क्यों साथ नहीं है...

    और से शुभकामना संदेश का खेल..

    ReplyDelete
  5. मुझे तो टेन्शन हो गया है - ठण्डा ठण्डा कूल कूल अब बिकेगा कैसे!

    ReplyDelete
  6. गुरु जी को प्रणाम !
    बाल किशन जी की शिकायत जायज है . सभी बीमारों का हाल चाल पूछना चाहिए . बालकिशन जी का भी . बालकिशन जी अब आप कैसे हैं ? वैसे आपको हुआ क्या है ? ....... अच्छा कब से ? बडी खतरनाक बीमारी है . जरा सँभल के रहना पडेगा आपको .वैसे वैज्ञानिक इसकी दवा की खोज में जुटे हुए हैं . आशा है जल्दी ही दवा का आविष्कार हो जाएगा . भगवान आपको जल्दी अच्छा करें . बाई द वे आप किस खेत की ... मेरा मतलब है आपका घर किधर पडता है ?

    ReplyDelete
  7. तबियत खराब में भी अमिताभ अपना ब्लॉग लिख लेते हैं....अस्पताल कमरे में लेटे लेटे भी मनन चिंतन जारी रहता है! पब्लिक नाहक चिंता में मरी जा रही है!

    ReplyDelete
  8. पल्लवी जी ने ठीक ही तो कहा है इसमें बुरा मानने की क्या बात है ?

    ReplyDelete
  9. काश अमिताभ अपने ब्लॉग पर इंस्पेक्टर शर्मा के बारे में कुछ लिखते ताकि मालूम चले इस देश के आम आदमी ,बाकि हालात पर ये नायक क्या सोचता है ?

    ReplyDelete
  10. सही कहे बबुआ.वो सुने थे न ...हाथी मरे भी तो सवा लाख का,तो बड़े लोग हैं.उनके वजह से कितनो का दूकान दौरी चलता है.चलने दो.वैसे मनुष्य होने के नाते हम दुआ करते हैं कि अमिताभ बच्चन जी शीघ्र स्वस्थ लाभ करें.यह इसलिए भी जरूरी है कि जब ये स्वस्थ होंगे तभी फ़िर ये खबरी चैनल दूसरे ख़बरों की ओर मुडेंगे .

    ReplyDelete
  11. एक राष्ट्रीय संकट के समय ऐसा मजाक शोभा देता है क्या? यह समय है सब मिल कर काम करें और देश को संकट से उबारे, माने बच्चन साब को ठीक करें. अकेले डॉक्टर क्या कर लेंगे? आप एस.एम.एस भेजना जारी रखो....

    ReplyDelete
  12. हम अभी मिल के आया हूँ गंगा किनारे वाले छोरे से...अब मुंबई में रहते हैं हम तो इतना तो करना ही पड़ेगा...आज हम उनके काम आ रहे हैं कल वो हमारे आयेंगे...ये सोच केगए थे...हम बोले की आप कैसे हैं.... सब चिंतित हैं...देश तो देश अब तो ब्लॉग जगत के महारथी भी आप को लेकर पोस्ट लिख रहे हैं...मुस्कुराए बोले देखिये ना टिप्पणी की खातिर आज कल ब्लोगर को किस किस विषय पर लिखना पढ़ रहा है...हैं... कल तक शेयर मार्केट के स्वास्थ्य की चिंता थी आज हमारे स्वास्थ्य की है....हैं..उन्हें कहियेगा हम ठीक हैं, सिर्फ़ चर्चा में बने रहने को हास्पिटल में भरती हुए हैं...बाबूजी कहा करते थे बचुआ और कहीं रहो न रहो लेकिन चर्चा में जरूर बने रहना... अभी कुछ समय बाद घर चले जायेंगे... अजवायन की फंकी मारेंगे ठंडे पानी और हींग के साथ और पेट दर्द से छुटकारा पाएंगे...चुटकी में...
    नीरज

    ReplyDelete
  13. सब चिंतित हैं. फैन चिंतित हैं. शुभचिंतक चिंतित हैं. नेता चिंतित हैं. अभिनेता चिंतित हैं. पब्लिक चिंतित है. और तो और प्रधानमंत्री तक चिंतित हैं. सुना कि कल उन्होंने जया बच्चन जी को फ़ोन कर के अमिताभ जी के स्वस्थ होने की कामना की.

    लाजवाब .. क्या लिखा है आपने ? पढ़ते २ आनंद आ गया !

    ReplyDelete
  14. पूरा देश ही कोशिश में लिप्त है..... और आप उसमें व्यवधान पैदा करना चाहते हैं।

    ReplyDelete
  15. अमें शिव भाई, सुना है कि आप सिलेमा
    देखे के बहुत शौकीन हो.. तो जाओ एक शो
    'जानम समझा करो' का देखि आओ ।
    अरे भाई मेरे, सब लिप्त ही तो है, कौनो निर्लिप्त
    तो नहीं ? निर्लिप्त भारत देश का हाल देखि
    लेयो.. बड़े भईया से पूछि लेयो, हलचल है,
    तो ज़िन्दगी है ! कहीं तो लिप्त हैं ? रहै देयो ।
    इलाहाबाद में उनके दीवाने हवन करने में
    लिप्त हैं, अमिताभ अस्पतलिया से ब्लाग ठेले
    में लिप्त हैं, अउर आपौ तो एही में लिप्त हैं!
    हम टिप्पणी ठोंके में लिप्त हैं ।

    ReplyDelete
  16. बड़े भईय्या की तबीयत का बुलेटिन देने की बजाय यह सब??? यहाँ चिन्ता लगी है...अमर सिंग लगभग आँसू में हैं. देश विदेश में हाहाकार मचा है महानायक की सलामती के लिए. बालकिशन तक बीमार हो लिए इस चक्कर में. अब उनकी चिन्ता भी लग गई है मुझे.

    ReplyDelete
  17. अरे....मेरे लिये तो इंस्पेक्टर शर्मा मेरे हीरो है, या वो लोग जो इस देश के लिये कुछ करते है, या फ़िर मुंशी प्रेमचन्द जेसे लोग महान है , इन नोटंकी बाजो के लिये मेरे पास समय ही नही सोचने के लिये....

    ReplyDelete
  18. अमिताभ जी ने उनके ब्लोग पर इन्स्पेक्टर मोहन शर्मा के बारे मेँ लिखा था और शायद मीडीया उन्का हेवी कवरेज कर रही है क्यूँकि वे ऐश्वर्या के श्वसुर जी हैँ !! :)
    -लावण्या

    ReplyDelete
  19. सही कह रहे है पुरा देश उन्हे ठीक करने की कोशीश मे लिप्त है मगर सिर्फ़ कोशीश मे!!ठीक करने मे नही !!

    ReplyDelete

टिप्पणी के लिये अग्रिम धन्यवाद। --- शिवकुमार मिश्र-ज्ञानदत्त पाण्डेय